PATNA: आज 28 जुलाई 2022 को विश्व हेपाटाइटिस दिवस के मौके पर जागरुकता के लिए रूबन मेमोरियल अस्पताल बिहार का अपना अस्पताल ने एक मॉर्निंग वॉक का
आय़ोजन किया। जिसमें लोगों को हेपाटाइटिस होने के कारणों और लक्षणों पर चर्चा की गई। आप जानकर आश्चर्य हो जाएंगे कि आंकड़ों में प्रत्येक 30 सेकेंड में विश्व में एक व्यक्ति
की मृत्यु होती है। भारत में हेपाटाइटिस का मृत्यु दर एच.आई.वी तथा कोविड से अधिक है।
हेपाटाइटिस के संबंध में जागरूकता की कमी से इसकी तरफ ध्यान केंद्रित नहीं हो पाया
है। आपको बता दें कि हेपाटाइटिस के निम्नलिखित लक्षणों से इसे आसानी से समझा जा सकता है उदाहरण के लिए भूख नहीं लगना, डेकार और हवा छूटना, खाना नहीं पचना, त्वचा,
आंख और पेशाव का पीला होना, पेट में पानी होना, उल्टी में खून का आना आदि लक्षण है जिससे हेपाटाइटिस की पहचान की जा सकती है।
हेपाटाइटिस के कई प्रकार है जिसे जानना जरूरी है जैसेः- हेपाटाइटिस A, हेपाटाइटिस B, हेपाटाइटिस C…आपको यह भी जानना चाहिए कि हेपाटाइटिस A पानी के द्वारा
होती है। दूषित पानी हेपाटाइटिस A होने का प्रमुख कारण है। स्वच्छ जल के उपयोग से हेपाटाइटिस ए से बचा जा सकता है। हेपाटाइटिस बी का संक्रमण रक्त से होता है। वैसे सबी
रोगी जिनका डयलिसिस होता है या ब्लड ट्रांसफ्यूजन होता है, निश्चित रूप से हेपाटाईटिस की जांच प्रक्रिया के अन्तर्गत जाना चाहिए। हेपाटाइटिस बी तथा हेपाटाइटिस सी अगर
ऑउन्नत अवस्था में हैष तो यकृत सिकुड़ जाता है तथा सिरोसिस हो जाता है।
लिवर ट्रांसप्लांट (यकृत प्रत्यारोपण) (Liver transplant) वैकल्पिक व्यवस्था है, लिवर
ट्रांसप्लांट (यकृत प्रत्यारोपण) (Liver transplant) एक उच्च तकनीक तथा जटिल प्रक्रिया है। 80% सफलता लीवर ट्रांसप्लांट में संभव है तथा रोगी 10 वर्षों से अधिक
समय तक जीवित रहता है। रूबन अस्पताल ने हेपटोविलीयरी पैनक्रेयाटिक यूनिट स्थापित किया है, जिसमें अनुभवी लिवर फिजिशियन तथा शल्य चिकित्सा कार्यरत है जिन्हें भीलौर
क्रिश्चियन मेडिकल कॉलेज ने पारंगत किया है। रूबन अस्पताल पटना ने BLK-DELHI के साथ मिलकर रूबन में लिवर ट्रांसप्लांट (यकृत प्रत्यारोपण) (Liver transplant) यूनिट का कार्य शुरू किया है जिसमें चिकित्सक, नर्सिग स्टाफस, ओटी स्टाफस, BLK-DELHI के द्वारा अनुभव तथा दक्षता प्राप्त किए हैं। रूबन अस्पताल BLK-DELHI के साथ मिलकर पहला लिवर ट्रांसप्लांट (यकृत प्रत्यारोपण) (Liver transplant) यूनिट बिहार में स्थापित किया है।
रूबन पिछले दस वर्षों से किडनी ट्रांसप्लांट का कार्य सफलता पूर्वक कर रहा है। आज दिनांक 28 जुलाई से एक सप्ताह के लिए रूबन मेमोरियल अस्पताल पटना हेपाटाइटिस का मुफ्त जांच करेगा। आज सुबह चि्ल्ड्रेंस पार्क, एसके पुरी पार्क, में डा सत्यजीत सिंह, प्रबंध निदेशक, रूबन अस्पताल डा. विभा सिंह, चेयरपर्सन रूबन अस्पताल तथा डा. वैभव राज ने अपने विचार प्रकट किए। उपस्थित महिलाएं तथा प्रबंध निदेशक डा सत्यजीत सिंह ने लगातार ऐसे जागरुकता अभियान के कार्यान्वयन को करने का अनुरोध किया। रूबन मेमोरियल अस्पताल पटना बिहार का अपना अस्पताल समान सेवा तथा समाज के निर्माण के लिए सदैव तत्पर है।
पटना से आलोक कुमार की रिपोर्ट