RACNHI: हमारा समाज किस ओर जा रहा है, आप इसी से अंदाजा लगा सकते हैं कि जिस समाज में बहनें भाई की सलामती के लिए व्रत रखती हैं पूजा करती है, उसी समाज में ऐसा झकझोर देने वाला मामला सामने आता है कि एक कलयुगी बहन ने अपने ही भाई की हत्या कर दी और तो और उसे जमीन में दफना भी दिया. ढाई महीने बाद पता चला तो सबके होश उड़ गए. शुरुआत में तो ये मामला एक नॉर्मल मर्डर का लगता है. लेकिन, मामले का जैसे जैसे खुलासा होता गया, एक गहरे राज पर से पर्दा भी उठता गया.
आम से दिखने वाले इस मर्डर के पीछे और कहानी बताई जा रही है. ये कहानी लव जिहाद की ओर इशारा कर रही है. दरअसल, आरोपी बहन का प्रेम प्रसंग इजरायल नाम के अल्पसंख्यक समुदाय के एक युवक से चल रहा था. जिसका लड़की के भाई को पता चल गया, और प्रेमी के कहने पर बहन ने भाई की हत्या कर उसके शव को दफना दिया.
मामला रांची के पतरातू का है. रामगढ़ एसपी पीयूष पांडेय ने बताया कि प्रथमदृष्ट्या यह हत्या का मामला है। लड़की से पूछताछ की जा रही है। दरअसल, पतरातू के बरतुआ निवासी रोहित महतो (22 वर्ष) 30 जून को रांची के चुटिया से लापता था। रोहित के पिता नरेश महतो ने चुटिया थाने में गुमशुदगी का मामला दर्ज कराया। पुलिस ने जब रोहित की तलाश शुरू की, तो मोबाइल का अंतिम लोकेशन पतरातू में मिला। जब यहां पड़ताल की गई, तो पुलिस को पता चला कि रोड नंबर 33 के क्वार्टर नंबर एफ- 235 में रोहित की बड़ी बहन चंचल अकेली रहती है। पुलिस ने जब चंचल से पूछताछ की, तो उसने रोहित का शव आंगन में ही दफनाने की बात कही।
पतरातू में भाई की हत्या कर उसका शव आंगन में दफनाने की आरोपी चंचल ढाई माह तक पुलिस को भरमाती रही। पुलिस का कहना है कि करीब ढाई महीने से जब कहीं भी कोई अज्ञात लाश मिलती, तो चंचल खुद वहां जाकर मोबाइल से लाश का फोटो खींचती और पुलिस को बताती थी कि वह उसका भाई नहीं है। इस बीच न तो घरवालों को और न पुलिस को इस बात की भनक लगी कि उनके अनुसंधान में साथ घूमने वाली रोहित की बहन ही उसकी लाश को ठिकाने लगा चुकी है।
पुलिस को दिये बयान में युवती ने बताया कि उसका भाई नशीली दवा का सेवन करता था। उस दिन भी उसने ओवरडोज दवा ले ली थी, जिससे उसकी मौत हो गई। घबराहट में उसने बिना किसी को बताए शव को घर में ही दफना दिया। परिजनों ने भी इसकी तस्दीक की कि रोहित नशीली दवाओं को सेवन करता था। चुटिया में रहने वाला रोहित का ममेरा भाई दिलीप उसे अपने पास बुलाकर इलाज करा रहा था। 30 जून को चंचल ने रोहित को फोन कर पतरातू बुलाया। वह खुद उसे कांके रोड स्थित चांदनी चौक से साथ लेकर आई। इस दिन के बाद से रोहित का कोई पता नहीं चला। लेकिन तब तक प्रेमी के शामिल होने की बात नहीं आई थी.
रांची से गौरी रानी की रिपोर्ट