सीतामढ़ी के सोनबरसा में क्वॉरेंटाइन किए गए 12 विदेशी मजदूर को कई घंटों से खाना नहीं मिला है यह सभी मजदूर नेपाल देश के बताए जा रहे हैं। भारत-नेपाल सीमा सील होने की लोगो को आने जाने पर पाबंदी है सीतामढ़ी के सोनबरसा में दिल्ली से आए नेपाल के 12 नेपाली मजदूरों को लॉक डाउन की वजह से भारतीय सीमा में ही रोक दिया गया सभी 12 नेपाली मजदूर का जांच के बाद सोनवर्षा मध्य विद्यालय स्कूल में रखा गया है लेकिन अब तक उन विदेशी मजदूरों के खाने के लिए कोई व्यवस्था नहीं की गई है जिसको लेकर नेपाली मीडिया अपने देश के लोगों को भारत में भूखा रहने पर खिंचाई की है आपको बता दें कि लॉक डाउन ओर सीमा सील होने वजह से दिल्ली से 12 नेपाली मजदूर सोनबरसा पहुंच गए जिसके बाद स्थानीय प्रशासन ने उसे सोनवर्षा स्कूल में रख दिया लेकिन कई घंटे बीत जाने के बाद भी अब तक उनके खाने के लिए कोई साधन उपलब्ध नहीं कराया गया है आखिर जो लोग स्कूल में कैद है उनको खाना कहां से मिलेगा यह सवाल खड़ा होता है

उधर नेपाल की मीडिया ने अपने नागरिकों को भूखा रखकर इस तरह के बर्ताव को गलत बताते हुए इस घटना की निंदा की है आसपास के लोगों द्वारा सोनवर्षा के वीडियो ओमप्रकाश को लगातार कॉल किया जा रहा है लेकिन उन्होंने कॉल भी नहीं उठाया और ना ही व्हाट्सएप पर इसकी जानकारी मिलने पर कोई रिस्पांड किया। अभी तक सिर्फ विदेशी मजदूरों को चाय और बिस्कुट ही उपलब्ध कराया गया है स्कूल में नेपाली नागरिक में राजकुमार यादव पिता रामसरन राय , वीरेंद्र महतो पिता फेकू महतो दुरल महतो पिता फेकू महतो, अनिल महतो पिता विजय महतो, विजय महतो बरहरवा, फेकू महतो पिता राम कैलाश महतो बजरंगी महतो पिता राम विनय शंभू महतो, गंगाराम राय, रामचंद्र साहनी भारतीय सीमा सील होने की वजह से स्कूल में हैं इन सभी का कोर्णाक टेस्ट हो चुका है

लेकिन जब तक सीमा सील है तब तक यह नेपाल क्षेत्र में नहीं जा सकते लेकिन अब सवाल खड़ा होता है कि क्या जब तक यह भारतीय सीमा में है इसके इन लोगों के खाने की जिम्मेवारी किस पर है आखिर इन्हें कौन खाना मुहैया कराएगा और कब तक यह लोग भूखे स्कूल में पड़े रहेंगे.

आनंद बिहारी सिंह की रिपोर्ट