द एचडी न्यूज डेस्क : बिहार में पहले चरण का मतदान खत्म हो गया है. शेष दो चरणों के लिए वोटिंग होना बाकी है. ऐसे में सभी दल और गठबंधन की ओर से मतदाताओं को रिझाने के लिए युद्ध स्तर पर प्रचार प्रसार किया जा रहा है. इसके लिए इनलोगों की ओर से तरह-तरह के वादे किए जा रहे हैं. इस कड़ी में अन्य गठबंधन से दो कदम आगे जीडीएसएफ चल रहा है.
नालंदा के इस्लामपुर में चुनावी सभा को संबोधित करते हुए उपेन्द्र कुशवाहा ने बिहार में जीडीएसएफ की सरकार बनाने का खाका तक तैयार कर लिया है. उन्होंने मंच से ही लोगों को बता दिया कि बिहार में ग्रैंड डेमोक्रेटिक सेक्यूलर फ्रंट की सरकार बनी तो चार डिप्टी सीएम होंगे. जिसमें एक महिला उपमुख्यमंत्री होगी.

कुशवाहा ने लालू-राबड़ी और नीतीश कुमार के शासनकाल पर हमला बोलते हुए कहा कि दोनों की ओर से 15 साल 15 की उपलब्धि गिनायी जा रही है. पहले लोग 15 साल के शासन से निराश हुए. इसके बाद जिनको 15 साल काम करने मौका मिला तो उन्होंने भी कुछ नहीं किया. सरकारी स्कूलों में पढ़ाई नहीं. अस्पतालों में दवाई नहीं. नौजवानों और मजदूरों के लिए कमाई नहीं. इस बार हमको मौका दीजिए हम बिहार की शिक्षा व्यवस्था में सुधार करेंगे.
नीतीश कुमार ने कहा था कि बिहार में विकास करेंगे. आप सरकारी अस्पतालों का हाल देख लीजिए. वहां इलाज नहीं होता. दवाई नहीं मिलती. वहां से वेतन उठाने वाले डॉक्टर अपने परिवार का इलाज निजी नर्सिंग होम में कराते हैं. बड़े भाई और मंझले भाइयों ने 30 साल बिहार की जनता को ठगने का काम किया है. आप छोटे भाई को भी पांच साल देकर देखें, बिहार की तस्वीर बदल जाएगी.

आपको बता दें कि बिहार में आरएलएसपी, बसपा और एआइएमआइएम समेत 6 दलों को मिलाकर ग्रैंड डमोक्रेटिक सेक्यूलर फ्रंट बना है. जिसके नेता उपेन्द्र कुशवाहा को बनाया गया है. महागठबंधन से नाता तोड़ने के बाद कयास लगाया गया था कि कुशवाहा फिर से एनडीए में शामिल हो जाएंगे. लेकिन तमाम कयालों पर विराम लगा जब कुशवाहा ने पटना में प्रेस कांफ्रेस कर अलग फ्रंट का एलान कर दिया.