PATNA: बिहार में खेल के मैदान की कमी जग जाहिर है। ऐसे में राजधानी पटना के पाटलिपुत्र मैदान के आस पास की घनी आबादी को भी मैदान रहते इस कमी का सामना करना पड़ रहा है। इकलौता पाटलिपुत्र मैदान पर भी नगर निगम ने कब्जा जमा रखा है। जिसे कूड़ा का डंपिंग जोन बना दिया गया है। लोगों का जीना दुभर हो गया है। पटना नगर निगम द्वारा आम लोगों के घरों से कचरा उठाकर पाटलिपुत्र मैदान में फेंका जा रहा है।
स्थानीय लोग काफी परेशान हैं। उनका कहना है कि इस कचरे से बीमारी फैलेगी। बच्चें-बूढ़े जो
खेलने और घूमने आते हैं उनको इस कचरे से काफी परेशानी हो रही है। नगर निगम के साथ-साथ नल जल योजना की पाइप का भी कब्जा है। हर घर गैस योजना के तहत भी जो पाइप हैं उनको भी इस मैदान में रखा गया है।
जिसकी वजह से मैदान पूरी तौर पर अतिक्रमण का भी शिकार हो गई है। लोगों ने इस बात की शिकायत अधिकारियों से कर रखी है मगर परिणाम सिफर रहा है। तमाम परेशानियों से आजिज होकर लोगों ने आज मैदान में कचड़ा गिराने आई निगम की गाड़ी को रोक लिया और उसके बाद जमकर प्रदर्शन करने लगे।
लोगों का कहना है यह जो कचड़े यहां गिराया जाता है यह गलत है क्योंकि यह निजी मैदान है। स्थानीय सोसाइटी का मैदान है और यहां डंपिंग यार्ड बनाना बिल्कुल भी सही नहीं है। नगर निगम के अधिकारियों ने कहा इसे हटवा लिया जाएगा लेकिन लगातार 10 दिनों से यह कचरा यहां गिराया जा रहा है। अधिकारी कोई सुनवाई नहीं करते हैं और न पाटलिपुत्र सोसाइटी इस मामले में ध्यान दे रही है। पाटलिपुत्र सोसाइटी के सदस्य हैं या जो अध्यक्ष हैं, वह भी कहीं ना कहीं इस मामले से पल्ला झाड़ रहे हैं। दूसरी तरफ सरकार कोरोना वापसी की बात कह कर सफाई रखने की बात कही रही है वहीं डंपिंग कूड़े से गंदगी का अंबार लग रहा है।
पटना से विशाल भारद्वाज की रिपोर्ट