मुंगेर : बिहार के मुंगेर जिला विकास को गति प्रदान करने के लिए 18 साल पहले मुंगेरवासियों के कई आंदोलन के बाद दक्षिण बिहार और उत्तर बिहार को जोड़ने के लिए तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने इस गंगा नदी पर बनने वाले रेल सह सड़क पूल का शिलान्यास किया था. जिसके बाद पूल बनने के दौरान जमीन अधिग्रहण से लेकर पूल को बनने में कई अड़चने पूल का लागत मूल्य भी 927 करोड़ से बढ़कर 2774 करोड़ रुपए हो गई है . 18 साल के लंबे इंतजार के बाद अब गंगा पुल से एप्रोच पथ को कनेक्ट करने के लिए अंतिम पीलर पर गार्डर चढ़ाने को काम बुधवार को पूरा कर लिया गया है. इसके साथ ही पुल से एप्रोच पथ के कनेक्टिविटी का काम पूरा हो गया.
बता दें कि सरकार की ओर से लोकापर्ण की घोषित तीथि 25 दिसंबर तक एप्रोच पथ के काम को अंतिम रूप देने के लिए निर्माण एजेंसी ने काम की रफ्तार चार गुणा बढ़ा दिया. 18 साल के लंबे इंतजार के बाद इस पुल का सपना साकार हो रहा है. मुंगेर घाट पर 14.51 किलोमीटर लंबे दो लेन रेल सह सड़क पुल का निर्माण कार्य भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण कर रहा है. मोकामा में राजेंद्र सेतु और पटना में जेपी सेतु के बाद राज्य में गंगा नदी पर यह तीसरा रेल सह सड़क पुल होगा.
गंगा पूल और उद्घाटन की तैयारी का जायजा लेने पहुंचे मुंगेर भाजपा विधायक प्रणव कुमार ने बताया कि 25 दिसंबर को मुंगेरवासी होली और दीपावली दोनों मनाएंगे. इस दिन मुंगेर के विकास का द्वारा गंगा रेल सह सड़क पूल के रूप में खोल दिया जाएगा. जिससे बिहार एवं दक्षिण बिहार को जोड़ने के लिए नया सेतु उपलब्ध होगा, जिससे इस क्षेत्र में विकास की नई धारा बहेगी. उद्घाटन स्वयं बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार मुंगेर पहुंच 25 दिसंबर को करेंगे. साथ के मंत्री और विधायक मौजूद रहेंगे. वर्चुअल माध्यम से कई केंद्रीय मंत्री इस उद्घाटन समारोह का साक्षी बनेंगे.
पुल का लोकार्पण 25 दिसंबर, 2021 को पूर्व पीएम अटल बिहारी वाजपेयी के जन्मदिन पर किया जाएगा और इस पर आवागमन शुरू हो जाएगा. इस गंगा रेल सह सड़क परियोजना के बन जाने से बेगूसराय और खगड़िया की दूरी मुंगेर से काफी कम रह जाएगी. मुंगेर से खगड़िया और बेगूसराय का सफर कुछ मिनटों में तय हो सकेगा. इससे मुंगेर के विकास में चार चांद लग जाएगा. लोगों ने कहा पूल सिर्फ विकास ही नहीं बल्कि कई मायनो में मुंगेर को और आगे बढ़ाएगा.
विशाल भारद्वाज की रिपोर्ट