रांची : झारखंड की राजधानी रांची से एक बहुत बड़ी खबर आ रही है. झारखंड हाईकोर्ट ने छठी जेपीएससी की सभी नियुक्ति रद्द कर दी है. साथ ही नई मेरिट लिस्ट जारी करने का आदेश भी दे दिया है. हाईकोर्ट में डबल बेंच की सुनवाई में यह फैसला लिया गया है. बता दें कि 326 सफल अभ्यर्थियों को बड़ा झटका लगा है. सिंगल बेंच के फैसले को सही ठहराया. सिंगल बेंच ने रिजल्ट निरस्त करने का आदेश दिया था.
यह जानकारी अमितांश वत्स ने दी है. जो पार्थियों की तरफ से हाईकोर्ट में पक्ष रख रहे थे. वहीं जेपीएससी की ओर से अधिवक्ता संजोय पिपरवाल और प्रिंस कुमार ने पक्ष रखा. जेपीएससी के द्वारा 326 लोगों की नियुक्ति कर दी गई है. जिसके बाद ये लोग राज्य के विभिन्न जिलों में अपनी सेवा दे रहे है.
एकल पीठ के आदेश को थी चुनौती
बता दें कि प्रार्थी शिशिर तिग्गा समेत अन्य याचिकाकर्ताओं की ओर से दाखिल याचिका में हाईकोर्ट की एकल पीठ के आदेश को गलत बताते हुए उस आदेश को निरस्त करने की गुहार लगायी गयी थी. याचिका में कहा गया था कि छठीं जेपीएससी की मुख्य परीक्षा में पेपर वन (हिंदी व अंग्रेजी) का अंक कुल प्राप्तांक में जोड़ा जाना सही है. इसी आधार पर जेपीएससी ने मुख्य परीक्षा के बाद मेरिट लिस्ट जारी की थी. इसमें कोई गड़बड़ी नहीं है. हाईकोर्ट के वरिय अधिवक्ता अजीत कुमार, कुमारी सुगंधा, अपराजिता भारद्वाज, तान्या सिंह, इंद्रजीत सिन्हा, अर्पण मिश्रा और अधिवक्ता सुमित गड़ोदिया प्रार्थियों के अधिवक्ता हैं.
सफल अभ्यर्थियों ने डबल बेंच में अपील दायर की थी
बता दें कि झारखंड लोक सेवा आयोग द्वारा ली गई छठी जेपीएससी परीक्षा के रिजल्ट को चुनौती देनेवाली याचिकाओं पर हाईकोर्ट की सिंगल बेंच ने अपना फैसला सुनाया था. हाईकोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस संजय कुमार द्विवेदी की अदालत ने छठी जेपीएससी की मेरिट लिस्ट रद्द करते हुए 326 अभ्यर्थियों की नियुक्ति को अवैध करार दे दिया था. जिसके बाद इस परीक्षा में सफल और असफल हुए अभ्यर्थियों का भविष्य अधर में लटका हुआ नजर आ रहा है. लेकिन सफल अभ्यर्थियों ने हाईकोर्ट की डबल बेंच में अपील दायर की है. जिसके बाद बुधवार को डबल बेंच ने भी छठीं जेपीएससी रिजल्ट को अवैध करार दे दिया है.
गौरी रानी की रिपोर्ट