पटना : छात्र संगठन आइसा ने पटना विश्वविद्यालय में बढ़ते हिंसक घटनाएं तथा विश्वविद्यालय की जर्जर एकेडमिक खिलाफ कुलपति के इस्तीफे की मांग को ले कर विरोध प्रदर्शन किया. आए दिन कैंपसों में मारपीट की घटनाएं हो रही हैं लेकिन कुलपति इसको रोकने में विफल हैं. प्रोफेसरों की बहाली नहीं हो रहा है. हॉस्टलों को दुरुस्त नहीं किया जा रहा है. हॉस्टलों में मेस नहीं है. इसलिए छात्र संगठन आइसा ने कुलपति की इस्तीफे की मांग को ले कर पटना विश्वविद्यालय गेट पर जमकर हंगामा किया और विरोध प्रदर्शन जताया. पटना कॉलेज के भाषा भवन से मार्च निकालते हुए आइसा के कार्यकर्ताओं सहित दर्ज़नों विद्यार्थियों ने पटना विश्वविद्यालय गेट को तोड़ कर डीन ऑफिस तक पहुंच गए. अभी तक 2020-2023 सेशन के प्रथम वर्ष का रिजल्ट जारी नहीं किया गया है. कई डिपार्टमेंट शिक्षकों की कमी की वजह से कक्षाएं अनियमित चल रहे हैं.
आइसा राज्य अध्यक्ष विकाश यादव ने कहा कि कुलपति विश्वविद्यालय को बेचने का मन बना लिए हैं. एकेडमिक को बर्बाद कर दिया गया है. शिक्षकों की भारी कमी है. कैंपसों में गोलीबारी हो रही है और विश्वविद्यालय प्रशासन मूक दर्शक बना हुआ है. कुलपति न शिक्षा न सुरक्षा किसी चीज की भी गारंटी नहीं कर पा रहे हैं. आइसा राज्य सह सचिव कुमार दिव्यम ने कहा कि कैंपस में अराजकता का माहौल है. छात्र डर से कैंपस नहीं आ रहे हैं. पत्रकारिता का क्लास ऑनलाइन चल रहा है. जेंडर सैनसाईटेजेशन सेल की गठन की मांग कर रहा है ताकि कैम्पसों में छेड़खानी की घटनाओं पर रोक लगाया जाए.
आइसा कैंपस के सुरक्षा के सवाल पर हमेशा लड़ते रहा है . कैम्पसों में वीसी को सुरक्षा की गारंटी करनी होगी अगर नहीं संभल रहा है तो वीसी इस्तीफा दे दे. प्रदर्शन में आइसा राज्य अध्यक्ष विकाश यादव, कार्यकारिणी सदस्य नीरज यादव, राज्य सह सचिव कुमार दिव्यम, आइसा नेता अनिमेष चंदन, आशीष कुमार, आदित्य रंजन, विशाल विनायक, निशांत कुमार और ब्रजेश कुमार सहित दर्जनों छात्र मौजूद थे.
विशाल भारद्वाज की रिपोर्ट