PATNA : बिहार की सियासत इनदिनों गर्म है। आपको बता दें कि ,जब से नीतीश कुमार ने तेजस्वी यादव को अपना उत्तराधिकारी घोषित किया। तभी से जदयू के तमाम नेता विद्रोह पर है और इसी का परिणाम था कि ,उपेंद्र कुशवाहा ने जदयू छोड़ी और अब नागालैंड में भी यह देखने को मिला .
इसके साथ ही नागालैंड में नीतीश कुमार ने खुद सभा की थी ललन सिंह ने वहां कैंप किया था लेकिन जदयू की पूरी इकाई ने बीजेपी को समर्थन करने का ऐलान किया जदयू में जो आग लगी है वह भारी विस्फोट की तैयारी है आने वाले दिनों में बड़ी संख्या में लोग जदयू को छोड़ छोड़कर पूरे जिले के अंदर भागेंगे।
बता दें कि ,इस पुरे मामले में विपक्षी दलों ने जांच एजेंसी के खिलाफ पत्र लिखा है . लेकिन उसमे नीतीश कुमार का नाम नहीं इसको लेकर सुशील मोदी ने कहा, नाम क्यों नहीं है यह तो मुझे नहीं पता ,लेकिन जिन नौ लोगों ने पत्र पर हस्ताक्षर किया है। उसमें से अधिकांश वह लोग हैं . जो भ्रष्टाचार के मामले में आरोपी है जिन पर सीबीआई की जांच चल रही है।
सुशील मोदी का साफ तौर पर कहना हैं कि ,अगर कुछ गलत हो रहा है तो कोर्ट है नीतीश कुमार ने क्यों हस्ताक्षर नहीं किया यह मैं नहीं जानता लेकिन अमित शाह ने एक बार स्पष्ट कर दिया है कि,नीतीश कुमार दोबारा बीजेपी में शामिल नहीं हो सकते यानी वह एनडीए के साथ नहीं आ सकते लाखों प्रयास कर ले लेकिन वह एनडीए में नहीं आ पाएंगे।
पटना से विशाल भारद्वाज की रिपोर्ट