बिहार के स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों के अभिभावक कतई नहीं चाहते कि अगस्त में स्कूल खोले जाएं। स्कूल कब खुलें इसको लेकर वे कोरोना संक्रमण की स्थिति को फिलहाल देखना चाहते हैं। उनकी राय है कि बिहार और केन्द्र सरकार को कोविद-19 की आगे आने वाली स्थिति को देखकर ही स्कूल खोलने का महीना या इसकी कोई तारीख तय करनी चाहिए।
बिहार के अभिभावकों ने बच्चों की पढ़ाई से ऊपर उनकी सुरक्षा को तरजीह दी है। उनका मानना है कि बच्चों का स्वास्थ्य और सुरक्षा का सबसे पहले ख्याल रखा जाय। इसलिए स्कूल तभी खोले जाएं जब बच्चों को वहां भेजना किसी चिंता का कारण न बने। वे ये भी चाहते हैं कि सरकार ही बताए कि कब बच्चों को स्कूल भेजना मुफीद होगा। दरअसल केन्द्र सरकार के मानव संसाधन विकास विभाग के निर्देश पर बिहार के शिक्षा विभाग ने स्कूलबंदी के बीच राज्यभर के सभी जिलों के अभिभावकों से स्कूल अगस्त, सितम्बर या अक्टूबर में खोले जाने को लेकर रायशुमारी की थी। तीन बिंदुओं पर हर जिले के कुछ अभिभावकों से राय लेकर उन्हें समेकित कर केन्द्रीय एमएचआरडी को भेज दिया गया।
मंगलवार को बिहार शिक्षा परियोजना परिषद के राज्य परियोजना निदेशक संजय कुमार सिंह ने बिहार के स्कूली बच्चों के अभिभावकों की राय से केन्द्र सरकार को अवगत कराने की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि अभिभावकों का मत है कि स्कूल तभी खोले जाएं जब यह बच्चों के लिए सुरक्षित हों। स्थानीय स्थितियों के मद्देनजर स्कूलों को खोलने और बंद करने की छूट हो।